चल जिंदगी अब तेरे हिसाब से जी लेते हैं कुछ ख़्वाहिशें छोड देते हैं... कुछ सपने बुन लेते हैं
रविवार, 5 अप्रैल 2020
हम हैं कुछ अपने लिए कुछ हैं जमाने के लिए
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें
नई पोस्ट
पुरानी पोस्ट
मुख्यपृष्ठ
सदस्यता लें
टिप्पणियाँ भेजें (Atom)
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें